अमेरिका की पाकिस्तान को निगरानी सूची में रखने की चाहत
शुक्रवार को अमेरिका ने पाकिस्तान को लेकर कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय में पाकिस्तान के धनशोधन और आतंकवाद रोकने की तरफ खामियों को लेकर काफी चिंताएं है विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हीथर नोर्ट ने यह टिप्पणी 18 से 23 फरवरी तक पेरिस में होने वाली ‘वित्तीय कार्रवाई कार्यबल’ (एफएटीएफ) की अहम बैठक से पहले की है.
अमेरिका का यह बयान इन रिपोर्टों के बीच आया है कि वह पाकिस्तान को आतंकवादियों को वित्तीय सहायता मुहैया कराने वाले देशों की अंतरराष्ट्रीय निगरानी सूची में रखना चाहता है .अमेरिका के विदेश मंत्रालय की एक अधिकारी ने भारत और अमेरिका के बीच संबंधों को महत्वपूर्ण बताते हुए शुक्रवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच ‘मजबूत संबंध’ हैं
बता दे कि एफएटीएफ नीति निर्माण एवं मानक तय करने वाली एक अंतरराष्ट्रीय संस्था है जो धनशोधन और आतंकवाद को मिलने वाली वित्तीय मदद से निपटने के लिए काम करती है. हीथर ने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘अंतरराष्ट्रीय समुदाय को धनशोधन एवं आतंकवाद रोधी कदमों और इसी प्रकार के अन्य मामलों के क्रियान्वयन में पाकिस्तान सरकार की खामियों को लेकर लंबे समय से चिंताएं हैं.’’ विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हीथर नोर्ट ने संवाददाताओं से कहा, ‘राष्ट्रपति ट्रंप के मोदी के साथ यकीनन मजबूत संबंध हैं.’