मौत आने से ठीक पहले मिलते हैं व्यक्ति को कुछ ऐसे संकेत, बस समझने की है जरूरत

हर व्‍यक्ति यह भलीभांति जानता है कि एक न एक दिन उसके नश्‍वर शरीर को दुनिया से विदा लेनी ही है। मगर फिर भी मृत्‍यु के बारे में सोचकर हर किसी को घबराहट होती है। किसी व्‍यक्ति की मृत्‍यु अचानक नहीं होती है बल्कि वह अपने आने से पहले बहुत से संकेत देती है। बहुत सी घटनाएं ऐसी होती हैं तो मृत्‍यु की ओर इशारा करती हैं। मगर सामान्‍य तौर पर हममें से कोई भी इन घटनाओं और इन संकेतों पर ध्‍यान नहीं दे पाता। आइए जानते हैं इनके बारे में…

मनुष्‍य के शरीर में 7 च‍क्र होते हैं। पहला चक्र होता है मूलाधार चक्र, दूसरा लिंग चक्र, तीसरा नाभि चक्र, चौथा हृदय चक्र, पांचवां कंठ चक्र, छठा आज्ञा चक्र और सातवां सहस्रसार चक्र। मनुष्‍य का जीवन इन्‍हीं 7 चक्रों की चेतना पर निर्भर करता है। मृत्‍यु का समय करीब आने पर सबसे पहले नाभि चक्र में आहट शुरू होती है। मानवीय शरीर की रचना भी नाभि से ही शुरू होती है।

अगर मृत्‍यु करीब आ चुकी है तो आपको बहुत कोशिश के बावजूद भी अपनी नाक नहीं दिख पाएगी। कई पुराणों में इस बात का वर्णन देखने को मिलता है कि मृत्‍यु समीप आ जाने पर व्‍यक्ति को अपनी नाक दिखना बंद हो जाती है।

व्‍यक्ति के जन्‍म के साथ ही अपनी किस्‍मत भी साथ लेकर आता है और जब इस दुनिया से जाने का वक्‍त नजदीक आता है तो किस्‍मत भी उसके साथ चली जाती है। मृत्‍यु के निकट आने पर ह‍थेली की रेखाएं भी धूमिल होने लगती हैं।

जब हमारे परिवार में किसी बच्‍चे का जन्‍म होने वाला होता है तो हम एक-एक दिन गिनकर घर के इस नए सदस्‍य का इंतजार करते हैं। ठीक इसी तरह जब किसी व्‍यक्ति की मृत्‍यु होने वाली होती है तो परलोक में उसके पूर्वज उसकी बांट जोहने लगते हैं। ऐसे में उस व्‍यक्ति को अपने आस-पास किसी के होने का अहसास होने लगता है।

मृत्‍यु करीब आने पर स्‍वप्‍न भी अशुभ आने लगते हैं। सपने में व्‍यक्ति खुद को गधे पर सवार होते हुए भी देख सकता है। कई बार तो सपने में पूर्वज भी अपने साथ ले जाने आते हैं।

जिस व्‍यक्ति की मृत्‍यु करीब आ जाती है उसका साथ उसकी परछाईं भी छोड़ देती है। गरूड़ पुराण में भी बताया गया है मौत करीब आने पर व्‍यक्ति को अपने करीब बैठा इंसान भी नजर नहीं आता।

मनुष्य को अपने शरीर से एक अलग और अजीब-सी गंध आने लगती है। ऐसी गंध जिसे उसने पहले कभी भी महसूस नहीं किया होता है।
 

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