अनियमितता के विरूद्ध राष्ट्रीय शैक्षिक महासंध ने भरी हुकार

बीएसए ने धरना स्थल पर पहुँचकर सभी माँगे मानने की घोषणा
सीतापुर 7 मई। राष्ट्रीय शैक्षिक महासंध उत्तर प्रदेश की सीतापुर इकाई द्वारा आज अपनी माँगों के समर्थन में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी सीतापुर कार्यालय पर जोरदार धरना-प्रदर्शन किया गया। 
धरना स्थल पर पहुँचकर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अजय कुमार ने शिक्षकों को सम्बोधित करते हुए घोषणा की कि राष्ट्रीय शैक्षिक महासंध उत्तर प्रदेश द्वारा सौंपे गए माँग पत्र की सभी माँगे सहर्ष स्वीकार कर ली गई हैं। अद्यतन वरिष्ठता सूची का प्रकाशन एवं समस्त रिक्त पदों की सूची एक सप्ताह में सार्वजनिक कर पदोन्नति की काार्यवाही पूर्ण की जायेगी। बेसिक शिक्षा अधिकारी की घोषणा पर धरने में सम्मिलित लोगों ने ताली बजाकर स्वागत किया जबकि महासंघ पदाधिकारियों ने उन्हें माला पहना कर धन्यवाद ज्ञापित किया।
 इसके पूर्व धरना स्थल पर उपस्थित शिक्षकों को सम्बोधित करते हुए महासंघ के जिला सह-संयोजक महेश मिश्रा ने कहा कि जनपद में जारी पदोन्नति प्रक्रिया में जो अनियमिततायें की जा रही है यह धरना उन अनियमितताओं को समाप्त कराते हुए नियमानुसार पदोन्नति प्रक्रिया को सम्पादित कराने के उददेश्य से आयोजित किया गया है। महासंध कृतसंकल्प है कि शिक्षकों के साथ किसी प्रकार का कोई भेदभाव या अहित न होने पाये। अध्यापक बेसिक शिक्षा नियमावली में जो भी प्राविधान किये गए है, विभाग उनके अनुसार ही कार्यवाही करें और शिक्षकों को देय लाभ नियमानुसर अतिशीघ्र प्रदान किया जाय।
    विकास खण्ड परसेण्डी के शिक्षक एवं महासंघ के सक्रिय कार्यकर्ता राजीव गौड़ ने राष्ट्रीय शैक्षिक महासंध की मांगों को उदृत करते हुए कहा कि जो दो माँगे की गई हैं वे पूर्णतः न्यायसंगत एवं सभी शिक्षकों के लिये हितकारी हैं। खुश्तर रहमान खाँ ने कहा कि पूर्व वर्षो में अद्यतन वरिष्टता सूची जारी न होने के कारण ही जनपद के सैकड़ों वरिष्ठ शिक्षक आज भी पदोन्नति के लाभ से वंचित हैं जिनकी नियुक्ति 1984 से 1994 के मध्य हुई। इनमें से कई लोग अब सेवानिवृत्ति के कगार पर है। जबकि 1995 में नियुक्ति पाये शिक्षक पूर्व माध्यमिक विद्यालयों में प्रधानाध्यापक पद प्राप्त कर चुके हैं। ऐसा तब ही सम्भव हुआ जब विभाग द्वारा अद्यतन वरिष्ठता सूची का प्रकाशन नही किया गया था। इसलिये इसकी पुनरावृत्ति रोकने हेतु वर्तमान समय में नियमानुरूप् अद्यतन वरिष्ठता सूची का प्रकाशन अनिवार्य है।
    महासंघ के नेता अनिल मिश्रा ने कहा कि जनपद में अनेकों कार्य सदैव से अनियमित रूप से होते चले आ रहे हैं लेकिन कुछ लोगों द्वारा नियमानुसार कार्य किये जाने की माँग का विरोध इसलिये किया जा रहा ताकि उनका कारोबार चलता रहे। शिक्षक नेता विवके मिश्रा ने अपने संघर्ष की यादों को ताजा करते हुए अपने विचार रखें। उन्होनें कहा कि जो लोग आज हमारी माँगों को गलत बताने का कार्य कर रहे हैं वे सदा ही शिक्षकों के हितों की अनदेखी करते हुए विभाग के गलत कार्यो में सहभागी बनें रहे जिस कारण ही आज जनपद में शिक्षकों के समक्ष इतनी समस्यायें खड़ी हो चुकी है कि उनका नियमानुसार निदान कर पाना विभाग के लिये स्वंय में सर दर्द साबित हो रहा है। लेकिन अब समय आ गया कि हम युवा शिक्षक अपने और अपने साथियों के साथ किसी अन्ययाय या अनियमितता को बर्दाश्त नहीं करेगें।
    धरने को सम्बोधित करने वाले अन्य लोगों में सुश्री पूजा, अभय तिवारी, शिव कुमार दुबे, प्रमोद तिवारी, वेद प्रकाश, नईम शेख, बदर अखलाक, संजीव रावत, अनुपम दीक्षित, रंजन राय, मनीष पाराशर, राजकुमार सिंह, पंकज शुक्ला एवं आलोक मिश्रा के नाम प्रमुख हैं। धरना स्थल पर जनपद के विभिन्न विकास क्षेत्र से आये लगभग दो सैकड़ा शिक्षक मौजूद रहे।
 
 
 
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