ऑस्ट्रेलिया में भड़की आग के पीछे भारतीय मानसून जिम्मेदार

एक बेहद हैरान करने वाली खबर सामने आई है कि ऑस्ट्रेलिया के जंगलों की झाड़ियों में भड़की आग के पीछे भारतीय मॉनसून का देरी से लौटना एक बड़ी वजह है. जंगलों की आग पर अध्ययन करने वाले एक वैज्ञानिक ने इस बात का दावा किया है. आपको बता दें कि जंगल की झाड़ियों में लगी इस आग के कारण अब तक 3 लोगों की जान जा चुकी है. 150 घर जल गए हैं. हजारों लोगों को अपने घरों को खाली करना पड़ा है.

मेलबर्न यूनिवर्सिटी के जुड़े वैज्ञानिक ट्रेंट पेनहम ने बताया है कि ऑस्ट्रेलिया में लगी इस आग के पीछे भारतीय मॉनसून की लेट खत्म होना है. पेनहम कहते हैं कि पूरे विश्व में बदलने वाले मौसम आपस में जुड़े होते हैं. इन्हें अलग करके नहीं देखा जा सकता. मतलब कहीं गर्मी होती है तो कहीं ठंडी. किन्तु यह एक दूसरे से किसी न किसी तरह से जुड़े हुए होते है.

किन्तु सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि क्या भारतीय मॉनसून का देरी से जाना 10 हजार किमी दूर स्थित ऑस्ट्रेलिया के किसी क्षेत्र (डार्विन-जहां आग लगी है) में असर डाल सकता है? भारत में इस बार अक्टूबर महीने के बीच तक रिकॉर्ड बारिश हुई है. जबकि, एशिया में दक्षिण-पश्चिम मॉनसून प्रतिवर्ष जून से सितंबर के बीच खत्म हो जाता है. फिर ये हवाएं दक्षिण की तरफ बढ़ती हैं.

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